गिरिडीह : बीजेपी के जेपी नड्डा की उपलब्धि हेमन्त शासन में स्थानीय झामुमो विधायक सुदिव्य कुमार की उपलब्धि के समक्ष भी फीकी है. बीजेपी में यह डर जेपी नड्डा का कार्यक्रम में फेरबदल के रूप दिखा है.
रांची : झारखण्ड का गिरिडीह पर्वतों के गोद में बसने का सुखद अर्थ समेटे है. गिरिडीह का पारसनाथ पर्वत मरांग बुरु भी हैं, शिखर जी भी हैं. यह जिला झारखण्ड आन्दोलन के जन्म जैसे कई इतिहास समेटे है. पूर्व के बीजेपी सत्ताओं में जिले पर टापू का लेबल चस्पा हुआ. यह बीजेपी व आरएसएस के हिडेन एजेंडे तले मरांग बुरु व शिखर जी के अनुयाईयों के बीच नफरत सीचने का ऐतिहासिक सच भी लिए हुए है. और यह जिला बीजेपी का जैन मैत्री को तिलांजलि देने का गवाह भी है.
ज्ञात हो, जेपी नड्डा आरएसएस प्रचारक हैं व मोदी के विश्वासी भी हैं. मसलन, मोदी गुट द्वारा चालाकी से इन्हें अपनी नैया डूबने से बचने के लिए मैदान में उतारने का प्रयास हुआ है. लेकिन, मोदी नीतियों के तले 9 वर्षों तक गौण बीजेपी के राष्ट्र अध्यक्ष जेपी नड्डा की उपलब्धि गिरिडीह के स्थानीय झामुमो विधायक सुदिव्य कुमार के समक्ष भी फीकी है. और वर्तमान में हेमन्त शासन में स्थानीय विधायक की उपलब्धि जिले पर बीजपी काल में लगे घावों पर मरहम लगाने का सच लिए है, बीजेपी को डरा रहा है.
गिरिडीह जिले पर बीजपी काल में लगे घावों का सच बीजेपी को डरा रहा है.
यह डर बीजेपी में जेपी नड्डा के कार्यक्रम में फेरबदल के रूप में स्पष्ट तौर पर दिख रहा है. ज्ञात हो, बीजेपी राष्ट्र अध्यक्ष जेपी नड्डा का गिरिडीह दौरा होना है. पहले उनके आगमन की तिथि 22 जून 2023, सुबह 10 बजे थी. फिर बीजेपी ने कार्यक्रम 23 जून 2023 को होने की सूचना दी. लेकिन उसने कार्यक्रम में फिर से फेरबदल कर 22 जून 2023, सुबह 11 बजे कर दिया है. और अब वह सीधा गिरिडीह नहीं भाया रांची गिरिडीह जायेंगे.
जाहिर है बीजेपी में यह दयनीय स्थिति जनता से किये वादों को ना निभाने व जन अधिकार चहेते कॉर्पोरेट में लूटने के अक्स में मोदी छवि के छीन या धूमिल होने से हुआ है. और नड्डा के कार्यक्रम को 10 बजे के बजाय 11 बजे किया जाना जन समर्थन ना जुट पाने का सच लिए है. खैर जो भी हो आशा है कि बीजेपी राष्ट्र अध्यक्ष जेपी नड्डा अपने वक्तव में 1932 आधारित स्थानीय, आरक्षण बढ़ोतरी, सरना धर्म कोड जैसे झारखण्ड हित के जरुरी विधेयक को स्थान देंगे. और पार्टी का स्पष्ट दृष्टिकोण जनता के समक्ष रखेंगे.