झारखण्ड : सुरेश मुसहर मृत्यु मामले में हेमन्त सराकर ने संवेदनशीलता दिखाते हुए त्वरित किया जांच टीम का गठन. लेकिन, मुद्दों के अभाव में बाबूलाल जी का अबकी बार खुद डॉक्टर बनना हास्यास्पद और भ्रामक.
रांची : बाबुलाल अपने अस्तकाल में सीएम बनने की चाह में अपनी सभी इच्छाएं पूरी करते देखे जा रहे हैं. पहले तो कभी वह न्यायधीश बन जाते थे, कभी दारोगा या उद्भेदन कर्ता बन जाते थे. अबकी बार वह डॉक्टर बनते देखे गए. कहा जाता है कि सामंतवाद के कई चेहरे होते है, जिसकी स्पष्ट तस्वीर बाबूलाल जी मौजूदा दौर में पेश करते देखे जा रहे हैं. जिसके अक्स में वह मुद्दों के अभाव में सामन्तवाद के हर चेहरे पर दाव लगाने से नहीं चुक रहे.
ज्ञात हो, 28 सितम्बर 2023 को झारखण्ड, डंडई में महादलित वर्ग के को 58 वर्षीय सुरेश मुसहर की मृत्यु की खबर आयी. मामले में संवेदनशीलता दिखाते हुए हेमन्त सरकार के द्वारा त्वरित जिला स्तरीय जांच टीम का गठन किया गया है. प्राथमिक जांच में मृतक की पत्नी उर्मिला देवी के द्वारा जनप्रतिनिधियों व पारिवारिक सदस्यों की उपस्थिति में बयान दिया गया है कि सुरेश मुसहर की आकस्मिक मृत्यु भुख से नही, बल्कि बीमारी से हुई है. और आगे की जांच प्रक्रिया अभी जारी है.
कार्यक्रम में खाली कुर्सियों व मुद्दों के अभाव के अक्स में बौखलाए बाबूलाल जी के द्वारा मामले में आननफानन में स्वयं एक उद्भेदन कर्ता और डॉक्टर बनकर भ्रामक खबरे फलाई गयी. जिसके अक्स में उनके द्वारा हेमन्त सरकार पर फिर एक बार बिना सर-पैर के बेतुका आरोप लगाने का प्रयास हुआ. उनके द्वारा खा गया कि मृतक के परिवार को 7 माह से राशन नहीं मिला है. परिवार भुखमरी की स्थिति में थे. आयर 58 वर्षीय सुरेश मुसहर की मृत्यु भूख से हुई.
बाबूलाल जी में न उद्भेदन का अनुभव और ना ही कौशल
जाँच के क्रम में मृतक के परिवार से प्राप्त सम्बंधित जानकारी इस प्रकार है. परिवार में अनिल मुसहर, मुकेश मुसहर, लखन मुसहर एंव बबलु मुसहर, 04 पुत्र हैं. पत्नी उर्मिला देवी अपने बहु व पोते-पोतियों के साथ जीवन बसर करती है. उनके पति सुरेश मुसहर विगत कई दिनो से पेट की बीमारी से ग्रसित थे, उनका इलाज स्थानीय निजी क्लिनीक से चल रहा था. 24 सितम्बर 2023, डंडई कलवार ब्याहुत समाज के पूजा समारोह में सभी ने खाना खाया था. अन्य सदस्यों के लिए खाना भी लाए थे.
परिवार के सभी सदस्य खाना खाकर सोये थे. 25 सितम्बर 2023 को पति-पत्नी ने सत्तु का सेवन किया था. सुरेश मुसहर की अचानक तबियत बिगड़ने के कारण डंडई बाजार स्थित निजि क्लिनीक में ईलाज हेतु ले जाया गया था. ईलाज के उपरान्त घर लाने के बाद उनकी तबियत अधिक बिगड़ गयी. कुछ सोचने-समझने से पहले ही उनकी मृत्यु हो गई. उपस्थित जन प्रतिनिधियों ने बताया कि ईलाज के दौरान वे सभी निजी क्लीनिक में उपस्थित थे. भुख से मृत्यु की खबर सुनियोजित और निराधार है.
मृतक परिवार सरकारी सुविधा से अछान्दित
परिवार में पतोहु लालो देवी के नाम से ग्रीन राशन कार्ड संख्या 202800083047 एक्टिव है. राशन कार्ड में सुरेश मुसहर समेत 08 सदस्य का नाम सूचीबद्ध है. और उन्हें नियमित राशन प्राप्त हो रहा है. इसके अतिरिक्त भी मृतक के परिवा में कुल 4 राशन कार्ड संख्या 202800083047, 202800076266. 20280103420 एंव 202007436987 उपलब्ध है. अगस्त माह का राशन दिनांक 7 सितम्बर को एवं सितम्बर माह का राशन दिनांक 25 सितम्बर को प्राप्त किया गया है.
यह भी खुलाशा हुआ कि मृतक के पुत्र लखन मुसहर के पास स्वयं का चार पहिया वाहन (कमाण्डर जीप) रजिस्ट्रेशन संख्या UP62F5525 है. जिसे ग्राम लवाही कला से क्रय किया गया है. पूर्व में इनके पास तीन पहिया एंव दो पहिया वाहन भी थे. परिवार के सदस्यों के पास मोबाई फोन, सोलर लाईट प्लेट जैसे जरुरी उपकरण मौजूदा है. पशुधन के रूप में चार सुअर, चार बकरियां एंव आठ मुर्गियां है. सभी सूचनाएं बताते हैं कि बाबूलाल जी के द्वारा फिर झूठा भ्रम फैलाने का प्रयास हुआ है .